अयोध्या : राम मंदिर में 22 जनवरी को रामलला की मूर्ति की स्थापना होनी है। रामलला की कौन सी मूर्ति मंदिर के गर्भगृह में रखी जाएगी इसपर कई दिनों से चर्चा चल रही थी लेकिन अब ये तय कर लिया गया है। दरअसल प्राण प्रतिष्ठा के लिए तीन मूर्तियों का निर्माण कराया गया था। जिनमें से दो मूर्तियों को फाइनल किया गया है।एक मूर्ति को गर्भगृह में स्थापित कर प्राण प्रतिष्ठा की जाएगी जबकि दूसरी मूर्ति को राम मंदिर परिसर में किसी और जगह पर प्रतिस्थापित किया जाएगा। गर्भगृह में स्थापित की जाने वाली मूर्ति को ‘चल’ या ‘उत्सव’ नाम दिया गया है। जबकि दूसरी मूर्ति को ‘अचल मूर्ति’ कहा जाएगा।
कहां जाएगी गर्भगृह में वर्तमान में स्थापित प्रतिमा?
राम मंदिर के गर्भगृह में वर्तमान में रामलला की एक छोटी प्रतिमा स्थापित है। नई प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा होने के बाद इस प्रतिमा को अपने स्थान से नहीं हटाया जाएगा। वर्तमान में गर्भगृह में रखी प्रतिमा छोटे आकार की है जो भक्तों को दूर से नजर नहीं आएगी। जबकि नई ‘उत्सव’ प्रतिमा का आकर बड़ा है, जिसे श्रद्धालु दूर से भी देख सकेंगे। प्रतिमा में रामलला के बाल रूप को दर्शाया गया है।
बता दें कारीगरों द्वारा बनाई गयी ‘तीनों मूर्तियां लाजवाब बनी हैं’ मिडिया से बातचीत के दौरान राममंदिर के ट्रस्टी युगपुरुष परमानंद ने कहाकि तीनों मूर्तिकारों का परिश्रम और चिंतन लाजवाब है। तीनों मूर्तियां शानदार बनी हैं। तीन में से दो मूर्तियों का चयन हुआ है। आज तक की एक रिपोर्ट के अनुसार, रामलला की पहली मूर्ति गणेश भट्ट ने बनाई है, दूसकी सत्यनारायण पांडे ने और तीसरी प्रतिमा अरुण योगीराज ने बनाई है।