माघ महीने में दान-पुण्य के साथ नहान यानी नदियों पर स्नान और आस्था की डुबकी लगाने का विशेष महत्व है। माना जाता है कि माघ माह में नदियों पर सच्चे मन और श्रद्धा से डुबकी लगाने से सातों जनम के पाप धुल जाते हैं। मौनी अमावस्या पर जनपद – महराजगंज के घुघली नगर के बैकुंठ धाम में जिसे छोटी गंडक भी बोला जाता है जहां सनातन धर्म के सबसे बड़े स्नान मौनी अमावस्या पर आज लाखो श्रद्धालुओं ने नदी में आस्था की डुबकी लगाई और परंपरा के अनुरूप स्नान-ध्यान व दान कर पुण्य के भागी बने।
इस दिन पवित्र नदी का स्नान, दीपदान, भगवान की पूजा, आरती, हवन और दान का बहुत महत्व है। बैकुंठ धाम में स्नान के लिए श्रद्धालुओं की भारी भीड़ लगी रही। नदी पर भोर से ही श्रद्धालुओं के पहुंचने का सिलसिला शुरू हो गया था और धूप खिल जाने से नहान को लेकर श्रद्धालुओं में विशेष उत्साह देखा गया।
मौनी अमावस्या का महत्व माघ के महीने को हिंदू धर्म ग्रंथों में बहुत पवित्र माना गया है। इस मास के हर दिन को स्नान – दान के लिये बहुत ही शुभ माना जाता है। लेकिन माघ मास के ठीक मध्य में अमावस्या के दिन का तो विशेष महत्व है। मान्यता है कि इस दिन पवित्र नदी खासतौर पर गंगा का जल अमृत बन जाता है। इसलिये माघ स्नान के लिये माघी अमावस्या या मौनी अमावस्या को बहुत ही खास बताया गया है। इस दिन व्रती को मौन धारण करते हुए दिन भर मुनियों सा आचरण करना पड़ता है ,इसी कारण यह अमावस्या मौनी अमावस्या कहलाती है।
वही इस बैकुंठ धाम में सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर पुलिस प्रशासन जगह – जगह मुस्तैद रही और लगातार मेले में पुलिस टीम द्वारा लाउडस्पीकर के माध्यम से श्रद्धालुओं को जागरूक किया जा रहा था। मौके पर घुघली थाना प्रभारी योगेश कुमार सिंह व अन्य पुलिसकर्मी मौजूद रहें।
मौनी अमावस्या की खास बातें —
● आज पूरे दिन है स्नान का शुभ मुहूर्त ।
● मौनी अमावस्या स्नान के लिए आज का दिन सबसे शुभ है ।
● आज श्रद्धालु पुण्य के लिए व्रत रखते हैं ।
● इस दिन मौन रहकर व्रत करने से सिद्धियों की प्राप्ति होती है ।
● आज के दिन दान से शिव और विष्णु की कृपा मिलती है ।