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पिछली बार से 1% कम वोटिंग, 2017 में 5% मतदान बढ़ने पर BJP को हुआ था 48 सीटों का फायदा

उत्तर प्रदेश में बुधवार को विधानसभा चुनाव के चौथे फेज का मतदान खत्म हो गया। इस बार करीब 61.65% वोटिंग हुई है। 2017 में इन्हीं 59 सीटों पर 62.55% मतदान हुआ था, यानी इस बार करीब 1% कम वोटिंग हुई है। 2012 में इन 59 सीटों पर 57.52% वोटिंग हुई थी। वहीं, 2012 की तुलना में 2017 में वोटिंग में 5% का इजाफा हुआ था।

पिछले 3 चुनावों में इन 59 सीटों का एनालिसिस करें तो पता चलता है कि जब-जब वोट प्रतिशत बढ़े तो उस समय के विपक्षी दलों को फायदा हुआ। 2012 में 8% बढ़ने पर सपा को 22 और 2017 में 5% वोटिंग बढ़ने पर भाजपा को यहां 48 सीटों का फायदा हुआ था। इस लिहाज से सत्ताधारी दल भाजपा को फायदा होने के आसार हैं।भाजपा को इन 59 सीटों में 51 पर जीत मिली थी.

2017 में 62.55% वोटिंग हुई तो भाजपा को इन 59 सीटों में से 51 पर जीत मिली थी, जबकि 2012 में 57.52% वोटिंग हुई थी। तब भाजपा को इन 59 सीटों में से महज 3 सीटें मिली थीं। यानी 2017 में 5% वोटिंग बढ़ने पर भाजपा को 48 सीटों का फायदा हुआ था।
सपा को 2012 में इस इलाके में 39 सीटें मिली थीं। 2017 में महज 4 सीटें मिलीं, यानी 5% वोटिंग बढ़ने पर सपा 35 सीटों का नुकसान हुआ। 2017 में बसपा को 2 और कांग्रेस को 2 सीट मिलीं। बसपा को 11 और कांग्रेस को 1 सीटों का नुकसान हुआ।
2012 में बसपा को यहां की 59 सीटों में से 13, कांग्रेस को 3 सीटों पर जीत मिली थी।
बात 2012 और 2007 चुनाव की…

2012 में करीब 57.52% वोटिंग में इजाफा हुआ तो बसपा को 14 सीटों का नुकसान हुआ

2007 में इन्हीं 59 सीटों पर करीब 49% वोटिंग हुई थी। तब भाजपा को 9 सीटें मिली थीं। सपा को 17 और बसपा को 27 सीटों पर जीत मिली थी। और बसपा की सरकार बनी थी।
2012 में इन्हीं 59 सीटों पर 57.52% वोटिंग हुई थी। इस बार वोटिंग में तकरीबन 5% का इजाफा हुआ। इसका फायदा मुख्य विपक्षी दल सपा को हुआ।
सपा को यहां 59 में से 39 सीटों पर जीत मिली यानी 22 सीटों का फायदा हुआ। वहीं बसपा को 13 सीटें मिलीं, यानी 14 सीटों का नुकसान हुआ।
पहले 3 फेज की 172 सीटों का गणित भी जानिए-

1. पहले फेज की 58 सीटों पर 62.4% वोटिंग हुई थी, जो 2017 से 1.2% कम
पहले फेज में 10 फरवरी को भी वेस्ट UP में ही वोटिंग हुई थी। तब यहां की 58 सीटों पर 62.4% वोटिंग हुई। 2017 में इन 58 सीटों पर औसतन 63.75% मतदान हुआ था, यानी इस बार करीब 1.2% वोटिंग कम हुई है। 2012 में इन्हीं 58 सीटों पर 61.03% वोटिंग हुई थी, यानी 2017 में 2% से ज्यादा वोट का इजाफा हुआ था।

2. दूसरे फेज की 55 सीटों पर 64.42% वोटिंग हुई, जो 2017 से 1.1% कम

दूसरे फेज में 64.42% वोटिंग हुई है। 2017 में इन्हीं 55 सीटों पर 65.53% मतदान हुआ था, यानी इस बार करीब 1.1% कम वोटिंग हुई है। 2012 में इन 55 सीटों पर 65.17% वोटिंग हुई थी। 2012 की तुलना में 2017 में वोटिंग में करीब 0.36% का इजाफा हुआ था। 2012 में सपा को 29 और 2017 में भाजपा को यहां 33 सीटों का फायदा हुआ। इस बार इन 55 सीटों पर 1% वोटिंग घटी है।

3. थर्ड फेज में 59 सीटों पर 61% वोटिंग हुई, जो 2017 से 1.21% कम

थर्ड फेज में 61% वोटिंग हुई है। 2017 में थर्ड फेज में इन्हीं 59 सीटों पर 62.21% मतदान हुआ था, यानी इस बार करीब 1.21% कम वोटिंग हुई है। 2012 में इन 59 सीटों पर 59.79% वोटिंग हुई थी। 2012 की तुलना में 2017 में वोटिंग में करीब 2.42% का इजाफा हुआ था। 2012 में सपा को 37 और 2017 में भाजपा को यहां 41 सीटों का फायदा हुआ। इस बार इन 59 सीटों पर 0.7% वोटिंग घटी है।